रविवार, सितंबर 22, 2013

ऐसा ही एक षड्यंत्र है आधार कार्ड

ऐसा ही एक षड्यंत्र है । वैश्विक पहचान संख्या Universal Identification Number जिसे अमेरिका में सोशल सिक्यूरिटी नंबर कहा जाता है । अब इसे भारत में भी लागू किया जा रहा है । आधार कार्ड के रूप में । इसके अंतर्गत एक रिकार्ड बनाया जाता है । जिसमें आपको एक नंबर मिलता है । और आपसे सम्बंधित आपके परिवार के व्यक्ति । परिजन । आपकी संपत्ति । सभी सम्बंधित खाते । सुविधा और संसाधन सभी का लेखा जोखा एक नंबर से जोड़ दिया जायेगा । जिस प्रकार से ये आपकी पहचान को हर प्रकार के बायोमेट्रिक माध्यम से गहराई से रिकॉर्ड करते हैं । अगर आप थोड़ा ध्यान दें । तो आपको पता चल जायेगा कि इनके द्वारा प्रयोग में लायी जा रही नीतियां आपको पहचान देने के लिए कम । अपितु आप पहचान छुपा न पाए । इसके लिए अधिक समर्थ हैं । इस नंबर को बनवाने के लिए आपको विभिन्न प्रकार के प्रलोभन दिए जायेंगे । और इसके लाभ गिनाये जायेंगे । पर आपको इसके दुष्प्रयोग के विषय में कुछ भी नहीं बताया जायेगा । और इसे पूर्णतः सुरक्षित बताया जायेगा । इस नंबर को आवंटित करने का मूल उद्देश्य है । हर व्यक्ति को एक अनन्य संख्या की पहचान देना है । अगर कोई व्यक्ति सरकार के विरुद्ध जाता है । और किसी प्रकार की क्रांति लाना चाहता है । तो उस पर नज़र रखकर उसे हर एक सुविधा और साधन से काट कर उसे कमजोर बना देना ही इसका उद्देश्य है । और आज के कम्प्यूटरी युग में ये नंबर किसी आपराधिक मानसिकता वाले व्यक्ति के हाथ लग जाये । इसकी भी सम्भावना को नकारा नहीं जा सकता
https://www.youtube.com/watch?v=RjPH5Ezig8A
भारत में देशवासियों को विदेशी पूंजी निवेश से विकास कराने के नाम पर भी ठगा जा रहा है । ये देश के विकास का नहीं । अपितु इसे और भी अधिक गरीब बनाने का षड्यंत्र है । एक तो ये निवेश विदेशी न होकर हमारे देश में रहने वाले भृष्ट लोगों की काली कमाई का धन जिसे किसी अन्य का धन बनाकर विदेशी निवेश के रूप में भारत में लगाया जा रहा है । और अगर कोई व्यक्ति एक साधारण सी बात पर थोड़ा सोचे । और ध्यान दे कि अगर कोई व्यक्ति निवेश कर भी रहा है । तो हम पर दया करके तो ऐसा कर नहीं रहा होगा । उसका कुछ फायदा तो अवश्य होगा उसे । ये जितना निवेश करेंगे । उससे अधिक धन यहाँ से ले भी जायेंगे । इससे ये पहले से ही धनवान भृष्ट लोग । जिनका ये धन निवेश के रूप में लगा है । और भी धनवान हो जायेंगे । और भारत का धन विदेश जाने के कारण रूपए का मूल्य गिरेगा । महंगाई बढ़ेगी । इससे अंत में आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग मारा जायेगा ।
https://www.youtube.com/watch?v=SPElhVyOJM8
इसके साथ ही आयेगा देश में निवेश के रूप में अमेरिकी डालर । जो कि पूर्ण रूप से खोखली मुद्रा है । इसका मूल्य मात्र अमेरिका के दबदबे के कारण है । क्योंकि अमेरिकी सरकार कहती है कि इसका मूल्य है । जिसके पास जितना अमेरिकी डालर है । वो व्यक्ति उतना ही कर्ज में है । यही कारण है कि अमेरिका की आर्थिक स्थिति बहुत तीव्रता से गिरती जा रही है
https://www.youtube.com/watch?v=LCYoq8lVkzA
अगर ये कर्ज रुपी मुद्रा भारत में निवेश की जाती है । तो ये भारत के आर्थिक तंत्र से अपना मूल्य बनाएगी । इससे पुनः रुपये का अवमूल्यन होगा । और महंगाई बढ़ेगी । पर इन सबके साथ ही देश में आएंगी । बहु ब्रांड वाली खुदरा व्यापार करने वाली कंपनियाँ । जैसे वालमार्ट । जो पहले से ही दूसरे देशों में गरीबी लाने के लिए बदनाम हैं । और इन्हीं के पीछे होंगी । टीवी केबल चैनल की कंपनियाँ । जो अन्य विदेशी कंपनियों के साथ सांठ गाँठ करके आयेंगी । और सस्ते दामों पर टीवी चैनल उपलब्ध कराएंगी । सरकार के द्वारा केबल टीवी का डिजिटल उन्नतीकरण Digitization इन्हीं के लिए कराई गयी सुविधा है । जब इनके प्रलोभन में आकर लोग इनकी सुविधाओं को लेने लगेंगे । तब ये दिन भर इन्हीं विदेशी कंपनियों के प्रचार दिखाएंगी । और उन्हें अच्छा बतायेंगी । जिससे उनके जाल में लोग फंसकर उन विदेशी कंपनियों के खाद्य पदार्थ । कपड़े और अन्य उत्पाद सुविधायें आदि लेने लगेंगे । और पुनः हमारे देश का धन दूसरे देश में जायेगा । ये विदेशी कंपनियाँ पहले ही भारत में जैविक रूप से संवर्धित अन्न प्रचालन में ला चुकी हैं । किसानों को ठग कर कि इसमें खाद कम लगती है । और कीड़े भी नहीं लगते । उत्पादन अधिक है आदि । जिसे खाकर लोग विभिन्न प्रकार की व्याधियों विकारों से समस्या में हैं । इसके साथ ही ये खेत में विभिन्न प्रकार की रासायनिक खाद डलवाकर और पारंपरिक फसल चक्र को भृष्ट कर खेत की उर्वरता को सीमित कर देंगे । जिससे एक निश्चित प्रकार की फसलें ही मात्र पैदा हो सकें । और विविधता नष्ट हो जाये । इसके बाद ये कुपोषण के शिकार लोगों को पोषण प्राप्त करने के लिए मांसाहार की सलाह देंगे । अपने खाद्य पदार्थों में देशी गायों को मरवाकर गो मांस बेचेंगे । ऐसा ये इसलिए करेंगे । क्योंकि इन्हें पता है कि मात्र भारत की गायों में ऐसे खास अनुवांशिक गुण हैं । जिनके कारण उससे प्राप्त होने वाले पञ्च गव्यों से अनेकों प्रकार के रोग ठीक हो जाते हैं । ऐसा करने से ये लोगों को रोग ग्रस्त कर विदेशी मेडिकल सुविधाओं को भी निवेश के माध्यम से देश में लायेंगे । इस प्रकार इस विदेशी निवेश के अंतहीन कुचक्र में फँसकर रुपये का अवमूल्यन कराता जायेगा । और देश गरीब से गरीब होता जायेगा https://www.youtube.com/watch?v=GA5HWoevE74
इन विदेशी कम्पनियों द्वारा फैलाया गया एक अत्यंत भयावह जाल है - जैविक संवर्धन का । ऐसा करके ये लोग प्रकृति के साथ खेल खेलना चाहते हैं । ये कम्पनियां पेड़ पौधों अनाज के बीजों और पशु आदि के अनुवांशिक गुणों को बदल कर जैविक रूप से संवर्धित प्रजाति पैदा करते हैं । इन पैदा कराई गयी प्रजातियों में अच्छाइयां कम और बुराइयाँ अधिक होती हैं । ऐसा ये मात्र अपने फायदे के लिए करते हैं । और लोगों को इनकी अच्छाइयां मात्र बता कर ठगते हैं
http://www.youtube.com/watch?v=-5gyWRrfkbE
उदाहरण के लिए अनाज के लिए ये जो बीज उपलब्ध कराते हैं । उमसे आपको ये लालच देते हैं कि इसमें कम लागत में अधिक उत्पादन होगा । और इसमें कीड़े आदि नहीं लगेंगे । किसान इनके लालच में आकर इन्हें खरीद लेता है । और अपने खेत में लगाता है । इन बीजों को लगाने के लिए कम्पनियां पुनः विभिन्न प्रकार की रासायनिक खादों को उपयोग करने के लिए बोलती हैं । इन बीजों में या तो यह होता है कि नयी उगी हुई फसल में पुनः उस फसल को उगाने के लिए या तो बीज नहीं होते । या अगर बीज होते भी हैं । तो उनमें कोई क्षमता नहीं होती । अथवा अगर आप इनके द्वारा बताये गए निर्देश से फसल उगाते हैं । तो आपके खेत की उर्वरक क्षमता सीमित हो जाती है । जिससे आप मात्र कुछ ही प्रकार की फसलों को उगा सकते हैं । जैसे सोयाबीन की फसल । ये सोयाबीन की फसल विदेशों से यहाँ लायी गयी । क्योंकि विदेशों की कम उर्वरक धरती पर इस फसल का उत्पादन करने से वहाँ की उर्वरक क्षमता बहुत ही सीमित हो गयी । क्योंकि वहाँ सोयाबीन का प्रयोग सूअरों तथा भैंसों के चारे के रूप में किया जाता है । जिससे उनमें मांस की मात्रा बढ़ती है । और उन देशों में मांसाहार का प्रचलन अधिक है । इसलिए वहाँ सोयाबीन की आवश्यकता होती ही है । ऐसे में उन्होंने ने भारत की और देखा । जहां की धरती अत्यंत उर्वरक क्षमता वाली है । यहाँ का किसान अधिक उत्पादन के लालच में आकर इसे उगाता है । और 10 वर्ष के बाद 11वे वर्ष उसकी भूमि कपास के अलावा अन्य किसी फसल को उगने की क्षमता नहीं रखती । सोयाबीन का उत्पादन इतना अधिक बढा दिया गया है विश्व भर में कि अब इसे मनुष्य के खाने योग्य घोषित कर खपाया जा रहा है । भारत में सूरजमुखी और सोयाबीन के तेल का अत्यधिक प्रचालन है । जो कि एक षड्यंत्र के अंतर्गत फैलाया गया है । ये दोनों तेल मनुष्य के खाने योग्य नहीं हैं । इन्हीं के कारण हमारे देश में इतने अधिक दिल के रोग और मधुमेह रोगी बढ़ते जा रहे हैं । ऐसा ही कुछ कार्य ये कम्पनियां पशु पालन के क्षेत्र में भी कर रही हैं

https://www.youtube.com/watch?v=fE7SqkFv03M
ये गाय तथा भैंसों के शुक्राणुओं में अनुवांशिक बदलाव कर एक नए प्रकार की प्रजाति बना रही हैं । जो कि अधिक दूध का उत्पादन करें । और साथ ही साथ उनमे अधिक चर्बी हो । ऐसा ये गाये भैंस के लिए उपयोग में लाये जा रहे बीजों में सूअर की जाति के गुण डालकर कर रहे हैं । अब ऐसे में इनके द्वारा दिए जा रहे दूध में किसके गुण रहेंगे ? स्पष्ट है । सूअर के ही रहेंगे । जिस गाय को हमारे देश में माता के रूप में पूजा जाता है । और उससे प्राप्त होने वाला पञ्च गव्यों को अमृत स्वरुप समझा जाता है । जिनमे अनगिनत रोगों का नाश करके हष्ट पुष्ट करने की क्षमता होती है । अब उस गौ माता और सूअर में कोई भेद नहीं रह जायेगा । बस बाहरी रूप से वह कुछ कुछ गाये के जैसी दिखेगी । और अंदरूनी रूप में वो सूअर ही होगी । https://www.youtube.com/watch?v=yqMLtY_LQG4
इस प्रकार से ये कम्पनियां अनेकों प्रकार के नए रोग उत्पन्न कर रही है । और करेंगी । और इसका कारण ये कुपोषण बतायेंगी । इस प्रकार ये भारतीयों में भृम फैलाएंगी कि शाकाहार में कम पोषक तत्व है । और इसकी पूर्ति के लिए मांसाहार आवश्यक है । ऐसा करके ये देश में बहुतायत में कत्ल खाने खुलवायेंगी । और वहाँ इन्हीं पशुओं को कटवाएंगी । ऐसे इन्हें अपने वैश्विक मांसाहार के व्यवसाय में लाभ होगा । https://www.youtube.com/watch?v=fAXiZvfVP-g
यही वो कंपनियां है । जो बीमारी फैलाती हैं । और इन्हीं से सम्बंधित कंपनियां हैं । जो दवाइयों का व्यापार करती हैं । इन्हीं से सम्बंधित संस्थान है । जो अंग्रेजी पद्धति के चिकित्सकों को पढ़ाते हैं । और यही वो चिकित्सक हैं । जो इनके द्वारा बनाई गयी दवाइयों को रोगियों के लिए लिखते हैं । इनके मूल में है । वे लोग । जो अधिक से अधिक धन अर्जित कर शक्ति का केंद्रीकरण करना चाहते हैं । और बीमारी और अन्य साधनों के प्रयोग से लोगों को मार कर उनके संसाधन और संपत्ति पर स्वामित्व प्राप्त करना चाहते हैं । https://www.youtube.com/watch?v=LZs1V8mpcoY

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