गुरुवार, अक्टूबर 11, 2018

लानत है ऐसे इस्लाम पर .


अफजल का मक्का में चूतिया बन गया

अफजल मक्का गया था.. जाहिर है ये पहली बार था उसके लिए..
जैसे ही वो वहाँ गया.. उससे मक्का के अधिकारी ने कहा कि सबसे पहले आपके बाल मुंडाने होंगे..
अफजल :- "क्या ?
बाल क्यूँ मूड़ोगे ? ऐसा तो हिन्दू धर्म में होता है ?"
मक्का अधिकारी (चिल्लाते हुए) :- चुप कर कुत्ते..
यहाँ किसी भी हाल में तुम्हे काफिरों की चर्चा नहीं करनी है समझे..
(और उसके बाद अफजल की बाल को मूँड़ दिया गया.. )

मक्का अधिकारी :- चलो चलो.. अब सभी कुरता पजामा खोलो और एक सूत के उजले कपडे पहन लो....अब अल्लाह के दर्शन होंगे..
अफजल :- "क्या .. एक सूत के कपडे तो हिन्दू धर्म में हिन्दू लोग पूजा पाठ .. क्रियाकर्म आदि के समय पहनते हैं..
हम तो मुस्लिम है .. ये ... ये .. क्या नौटंकी है ... "

मक्का अधिकारी :- "मारो मारो साले को .. .
बोलता है .. अल्लाह हिन्दुओं की नक़ल करता है ... मारो खबीस की औलाद को .. "
(सभी टूट पड़ते हैं और जम कर पीटते हैं ... )
और फिर पिटाई के बाद अफजल वो कपडे पहन लेता है ..और फिर मक्का में प्रवेश करता है ..

मक्का अधिकारी : अभी तवाफ़ करना होगा
अफ़ज़ल: ये क्या होता है ?
मक्का अधिकारी : मारो कमीने को इतना तक नहीं जानता है ?
अफज़ल : हुजूर बता दीजिए गुजारिश है
मक्का अधिकारी : इबादत करते हुए पवित्र स्थल के चारो ओर घूमने को तवाफ़ कहते है समझा नालायक काफिर कही का ?
अफज़ल : पर ऐसा तो हिन्दू मजहब के लोग करते हैं
वे लोग उसे परिक्रमा कहते हैं
मक्का अधिकारी: फिर कूटो बदमाश को काफिरों से मिलान करता है

अब अफजल वहाँ पहुँचता है जहां उसे एक दीवार को शैतान कह के पत्थर मारना है..
अफजल :- अबे सालो.. तुम लोग कहते थे ..
मूर्तिपूजा गलत है तो ये शैतान की मूर्ति कैसे आ गयी यहाँ ? ये कैसी बेवकूफी है ..

(तभी भीड़ में उसकी नजर अपने पडोसी पर जाती है .. संयोग से वो भी मक्का आया हुआ है ..
जिसने अफजल के साथ जबर्दस्त बेईमानी की है..

उसको देखते ही अफजल का पारा सांतवे आसमान पर पहुँच जाता है ..
बस फिर क्या था.. हाथ में पत्थर तो था ही ...
मौका अच्छा देख कर .. वो शैतान के दीवार की जगह उसको ही दे मारता है .. .

अफ़ज़ल :- साले शैतान तो ये है .. अभी बताता हूँ इसको .. ये ले बेटा .....
लेकिन पत्थर इधर उधर दूसरों को लगता है और भगदड़ मच जाती है .. लोग चिल्लाने लगते हैं ..
"शैतान जाग गया ... शैतान जाग गया .. मारो मारो "......

लोग भीड़ में कुचलने लगते हैं .. एक दुसरे पर चढ़ कर भागते हैं .. अफजल के ऊपर भी लोग चढ़ जाते हैं .. हड्डी टूट जाती है .. . लोग उसके ऊपर से चढ़ चढ़ के भाग रहे हैं..

अफजल :- अबे कुत्तों .भाड़ में गया जन्नत और ये जगह ...
एक बार निकल जाऊं यहाँ से तो सालों बताता हूँ ...
आह ... उई अम्मी ... बचाओ....

जिंदगी भर मूर्तिपूजा करने वालों को मारने को कहते हो .. और यहाँ ला के मूर्ति पूजा करवाते हो .. लानत है ऐसे इस्लाम पर . 😂😂😂

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Ashwin Tripathi
हर हर महादेव

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